हनुमान जी के चरणों में - कालिका प्रसाद

 

हे   पवन पुत्र  मां  अंजनी  के लाल,

तुम  हो प्रभु   बडे़   वीर  और बलवान,

राम भक्ति में रहते हो तुम  हर वक्त लीन

हनुमानजी के चरणों में एक फूल चढ़ाना है।

त्रेता युग में रुद्रावतार रुप में जन्म लिया

केसरी नंदन जी  के  घर  पर  प्रभु जी,

कपि     रुप    में     जन्म   लिया है

हनुमानजी के चरणों में एक फूल चढ़ाना है।

लंका   जाकर  श्री   हनुमान   जी  ने

 माता सीता ‌ मैया   का   पता  लगाया ,

रावण ने  किया  हनुमान  जी अपमान

लंका को जला  कर  मिट्टी में मिलाया।

गुड़ ,चना ,खीर,  चूरमा  हलवा लड्डू

हमारे प्रभु को  लगते  हैं  अति  प्रिय,

जो  भी भक्त    ये  प्रसाद   चढ़ाएं

वह नर  हनुमान जी कृपा हो जाये।

जहां पर भी  प्रभु राम नाम चर्चा होती

श्री हनुमान जी वहां पर  प्रकट  होते,

श्री हनुमान जी  महिमा  अपरम्पार है

हनुमानजी के चरणों में एक फूल चढ़ाना है।

- कालिका प्रसाद सेमवाल

मानस सदन अपर बाजार

रुद्रप्रयाग उत्तराखंड