यादों का खज़ाना - प्रतिभा जैन
Updated: Jun 20, 2024, 23:03 IST
हाथ में चाय का कप
टेबल पर रखा अख़बार है
कैसे कह दूं कल इतवार है
न दोस्त पुराना है
न आंगन कच्चा है
वो झोपड़ी वाला घर
नीम के नीचे खेलना
पड़ोसी के घर सोना
खेत पर खाना खाना
अब सब यादों का खज़ाना है।
- प्रतिभा जैन, उज्जैन, मध्य प्रदेश