मुक्तक - कर्नल प्रवीण त्रिपाठी
Oct 28, 2022, 22:22 IST
| भाई दूज -
भाई-बहनों के रिश्ते पर, हम भैया दूज मनाते हैं।
अक्षुण संबंध रहे हरदम, माथे पर तिलक लगाते हैं।
यम-यमुना में था नेह बढ़ा, आशीष मिला जीवें युग युग,
भगिनी की रक्षा करने को, सब भ्राता शपथ उठाते हैं।
आपसी संबंध को जीवंत ये अवसर बनाएं।
नेह की बाती लगा कर दीप की माला सजाएं।
पंच पर्व: छठ पूजा -
श्री दिवाकर को समर्पित पर्व छठ कितना सुहाना।
साँझ-प्रातः अर्घ्य देकर सूर्य को मन से मनाना।
चार दिन पूजा करें जल में उतर कर लोग सब,
नद, सरोवर ताल से इन्सान का रिश्ता पुराना।
जोश श्रद्धा से निरंतरपर्व छठ का सब मनाएं।
नेह की बाती लगा कर दीप की माला सजाएं।
- कर्नल प्रवीण त्रिपाठी, नोएडा, उत्तर प्रदेश